Saturday, April 20th, 2024 Login Here
विधायक श्री सिसोदिया ने कलेक्टर से की चर्चा
मंदसौर जनसारंगी।
कोरोना का संक्रमण कॉल चल रहा है जिसमें हर रोज मरीज बढ रहे है लेकिन सरकारी अस्पताल में सीटी स्कैन मशीन की सुविधा अनुबंध के समाप्त होने के कारण पूरी तरह से बंद है। जबकी मंदसौर मेंअभी हालात यह है कि कोरोना के लक्षण वालें अधिकांश लोगों को चिकित्सक सीटी स्कैन कराने की सलाह दे रहे है जिसके कारण निजी सीटी स्कैन मशीनों पर गरीब और मध्यमवर्गीय लोग भी मोटी राशि खर्च करने को मजबूर हो रहे है जबकी जिला अस्पताल में जब सीटी स्कैन मशीन चालु थी तब गरीबों की जांच निःशुल्क होती थी और अन्य लोगों को भी शासन द्वारा निर्धारित राशी ही देनी पड़ती थी लेकिन कोरोना महामारी के दौर में भी लोगों को शासकीय सुविधा नहीं मिल रहीं और वे निजी लेब पर लूटाने को विवश हो रहे हैं। दैनिक जनसारंगी ने 18 सितम्बर के अंक में इस लूट को लेकर समाचार प्रकाशित किया था जिस पर विधायक यशपालसिंह सिसोदिया ने संज्ञान लिया और कलेक्टर मनोज पुष्प से चर्चा कर सीटी स्कैन के लिये नीति बनाएं जाने के लिये कहा ताकी लोगों को सीटी स्कैन कराने में मोटी राशि खर्च नहीं करनी पड़ी।
लगातार बड़ते कोरोना संक्रमण के कारण चिकित्सक अधिकांश मरीजों को एक्सरे और सीटी स्कैन कराने की सलाह दे रहे है। अनुमान के मुताबिक हर दूसरे मरीज को सीटी स्कैन कराने की आवश्यकता पड़ रहीं है जिसके कारण मंदसौर की निजी सीटी स्कैन मशीनों पर आधी-आधी रात तक सीटी स्कैन कराने ओर रिर्पोट तैयार करने का काम किया जा रहा हैं।यहीं नहीं इस निजी सेंटरों पर गरीब और मध्यमवर्गीय भी लूटाने को विवश हो रहा है क्योंकि जिला अस्पताल में कुछ सालों पहले तक चलने वाली सीटी स्कैन मशीन की सुविधा फिलहाल अनुबंध के अभाव में पूरी तरह से बंद हो चूकी है। महामारी के दौर में भी सरकार ने इस सेंटर का ेजनहीत में फिर से चालु करने की तरफ कोई रूझान अब तक नहीं दिखाया है जिसके कारण सीटी स्कैन कराने वाला हर व्यक्ति निजी सेंटरों पर 4 से 5 हजार रूपए की राशि खर्च करने को विवश हो रहा है। कोरोना महामारी के चलते बाजार में पहले ही आर्थिक गतिविधिया ठप्प हो रहीं है लोगों को रोजगार की समस्या हो रहीं है ऐसे में घर मे ंयदि कोई बीमार हो जाए तो उसके सामने सबसे बड़ी मुश्किल आर्थिक खडी हो रही है क्योंकि यदि किसी व्यक्ति को सर्दी,खांसी या बुखार जैसी समस्या हो जाए तो भले ही उसे कोरोना नहीं हो लेकिन इन बिमारियों को कोराना के ही लक्षण माना जाता है और व्यक्ति की जांच-जांच में ही 8 से 10 हजार रूपए खर्च हो रहे है। चिकित्सक मरीज की पहले एक्सरे और खून की जांचे करा रहे जिसमें 3 से 4 हजार रूपएं खर्च हो रहे है ओर जरा सा भी संक्रमण दिखने पर उसे सीटी स्कैन कराने की सलाह दी जा रहीं है जिसमें 4 से 5 हजार रूपए खर्च हो रहे है।
अब आम गरीब और मध्यमवर्गीय परिवार इतनी बड़ी राशि कैसे खर्च करेगा उपर से घर में यदि एक से ज्यादा लोग बीमार है तो इतनी बड़ी राशि वह लाऐगा कहा से । ऐसे में दैनिक जनसारंगी ने इस मुद्दे को प्रमुखता के साथ उठाया जिस पर विधायक यशपालसिंह सिसोदिया ने कलेक्टर मनोज पुष्प से चर्चा कर कहा कि कोरोना संक्रमण काल में सीटी स्कैन रेकेट ना बन जाए इसकी चिंता की जानी चाहिये। जिन मरीजों को आवश्यक है उनकी सीटी स्कैन कराई जाए और सीटी स्कैन सेंटरों पर भी राशि न्यूनतम ली जाए इसकी भी नीति बनाई जानी चाहियें । उन्होंने सरकारी सीटी स्कैन सेंटर की संभावनाओं पर भी चर्चा की और साफ कहा कि जनता के हित में तत्काल ऐसी नीति बनें ताकी एक्सरे, सीटी स्कैन और अन्य जांचों में कोरोना मरीजों को ज्यादा राशि खर्च नही करना पडे।
सर्दी, खांसी, बुखार में फीवर क्लिनिक से ले परामर्श
चर्चा के दौरान कलेक्टर मनोज पुष्प ने विधायक सिसोदिया को अवगत कराया और कहा कि सर्दी, खांसी ओर बुखार होने पर जनता शासकीय फीवर क्लिनिक पर ही जाएं और वहां अपना परीक्षण कराएें ताकी उसे सहीं मागदर्शन वहां मिल सकेगा। मंदसौर जिले में 17 जगहों पर फीवर क्लिनिक चल रहे है वहां जनता को उपचार भी मिलेगा और आवश्यक होने पर ही जांच कराने की सलाह दी जायेगी। इसलिये मरीज फीवर क्लिनिक पर ही अपना उपचार कराएं।
अस्पताल में एक्सरे के लिये नहीं होना पड़ेगा परेशान
जिला अस्पताल के एक्सरे विभाग के स्टॉफ के कोरोना पॉजीटिव आने के बाद दैनिक जनसारंगी ने इस मुद्दे को भी प्रमुखता से उठाया जिसके बाद कलेक्टर मनोज पुष्प और सीएमएचओं डॉ केएल राठौर ने एक्सरे विभाग में रेडियोग्राफर और डार्क रूप असिस्टेंट स्टॉफ का इंतजाम कर दिया है। अब कोविड - 19 समेंत एमएलसी सहित अन्य सभी तरह के एक्सरे अस्पताल में निरन्तर होगें। इस इंतजाम के बाद जिला अस्पताल में शुक्रवार को नया स्टॉफ मौजूद था जिसने निरन्तर अस्प्ताल में एक्सरे करने का काम किया।