Saturday, April 27th, 2024 Login Here
वित्त मंत्री से मिले मोटर मालिक, सरकार को पहुंचाया मांग पत्र
मंदसौर जनसारंगी।
लगातार दूसरे साल डेढ़ माह के लॉक डाउन से न सिर्फ बस संचालकों की आर्थिक स्थिति खराब हो गई है। बल्कि चालक, कंडक्टर और बस परिवहन से जुड़े लोगों पर लॉक डाउन का ज्यादा असर हुआ है। इसी को लेकर बस संचालकों ने वित्तमंत्री जगदीश देवड़ा से मुलाकात की। टेक्स माफ करने के अलावा अन्य मांगे भी उनके सामने रखी।
जिला मोटर मालिक संघ के अध्यक्ष शिखरचंद्र रातडिया के नेतृत्व में एक प्रतिनिधिमंडल वित्त मंत्री जगदीश देवड़ा एवं विधायक यशपाल सिंह सिसोदिया से मिला। प्रतिनिधिमंडल में धर्मचंद रातडिया अकील कुरैशी सौरभ कोठारी अजय कुशवाहा जीवन रातडिया सम्मिलित थे। प्रतिनिधिमंडल ने एक ज्ञापन प्रस्तुत किया जिसमें कहा गया कि वैश्विक महामारी कोरोना वायरस 19 के कारण कर्फ्यू एवं जनसाधारण में व्याप्त छोभ के कारण यात्री बसों में यात्रियों का अभाव रहा तथा रोग ना फैले इसलिए यात्री बसों का संचालन नहीं हो सका। ऐसी स्थिति में मांह अप्रैल 21 से माह जून 2021 तक का टैक्स माफ करना एवं माह जुलाई से सितंबर 2021 तक के टैक्स में 50प्रतिशत छूट दिए जाने की आवश्यकता है। म0प्र0 मोटरयान कराधान नियम के अंतर्गत फार्म क के आधार पर वाहन संचालन से छूट की अवधि बढ़ाकर 2 माह से 6 माह किए जाने की आवश्यकता है इसलिए इस संबंध में शासन के आदेश हेतु निवेदन किया गया। जगदीश देवडा एवं विधायक यशपालसिंह सिसौदिया ने प्रतिनिधिमंडल से विचार विमर्श उपरांत यह विश्वास दिलवाया कि वह यह विषय शासन के समक्ष और आगामी मंत्रिमंडल की बैठक में रखेंगे तथा आदेश पारित करवाने हेतु प्रयास करेंगे।
तय किराऐ से दुगना वसुल रहे बस मालिक
लाॅकडाउन और अनलाॅक वन में भी बसों को परिवहन की अनुमति थी लेकिन सवारियां कम होने के कारण इक्का-दुक्का बसें ही संचालित हो रहीं है लेकिन जो बसे चल रहीं है उसमें भी कुछ में किराया दुगना वसुला जा रहा है जबकी ऐसा करने के लिए सरकार से कोई अनुमति नहीं ली गई है बल्कि सवारियांे के कम होने का हवाला देते हुए बस मालिक खुद ही तय से दुगना किराया वसुल रहे है। इसके कारण पहले से ही परेशान आम लोगों के आर्थिक हालात और ज्यादा खराब हो गऐ जिन्हें जरूरी कामों से बसों में यात्रा करना पडा।
दो दिन पहले बस में मंदसौर से शामगढ़ और पुनः शामगढ़ से मंदसौर की यात्रा करने वाले यात्री ने बताया कि सुबह जब मंदसौर से शामगढ़ गया तो बस कंडक्टर ने 75 रूपए किराया वसुला लेकिन वापस जब आया तो शामगढ़ से मंदसौर का किराया 150 रूपए लिया गया। इसके पीछे सवारियां कम होने का हवाला दिया गया। हालांकि यह मनमानी किराया बढ़ोतरी सभी बस मालिक नहीं कर रहे है क्योंकि सुबह जाते समय तय किराया ही लिया गया लेकिन वापसी में आने वाली बस ने मनमाना किराया यात्री से वसुल लिया। यात्री की भी मजबूरी थी कि उसे मंदसौर आना था ऐसे में उसे मनमाना किराया देना ही था। यात्री ने बताया कि मनमाना किराया वसुलने से उसके साथ आर्थिक ठगी की गई है क्योंकि सरकार के तय किराऐ को देखकर ही उसने बस में यात्रा की यदि उसे पहले से पता होता तो वह इस राशि से कम में अपने निजी वाहन से जाकर आ सकता था।